Haryana Farmers News: किसानों की सेम ग्रस्त जमीन होंगी उपजाऊ, कृषि मंत्री की ओर से दिया गया सर्वे कराने का निर्देश
हमारे देश में बड़े हिस्से पर खेती किया जाता है। और जिसमें से सिंचाई और असंचित क्षेत्र शामिल है। इसके अलावा बहुत सा ऐसा क्षेत्र जहां पर सेमग्रस्त व लवणीय भूमि भी है और इन सेमग्रस्त और लवणीय भूमि में ज्यादा से ज्यादा लाभ प्राप्त किया जा सके। इसको लेकर सरकार की ओर से कई तरह की कोशिश किया जा रहा है। जिसको लेकर सरकार की ओर से से ग्रस्त या फिर खारे पानी वाले क्षेत्रों में मछली पालन व झींगा पालन को बढ़ावा देने जा रही है।
Haryana Farmers News
इसी कड़ी में हरियाणा प्रदेश में कृषि, किसान कल्याण, पशुपालन और डेयरी एवं मत्स्य पालन मंत्री श्याम सिंह राणा की ओर से बताया गया है कि प्रदेश सरकार सेम ग्रस्त भूमि को दोबारा से उपजाऊ बनाया जाए। इसके लिए गंभीरता के साथ प्रयास कर रही है। और अनुदान आधारित योजनाओं को बनाकर इसे लागू भी किया जा रहा है।
कृषि मंत्री श्याम सिंह राणा के द्वारा हरियाणा प्रदेश के झज्जर जिले में 16 अप्रैल को खेती और किसी से संबंधित विभागीय अधिकारियों जागरूक किसानों व मत्स्य फलों के साथ सांझा बैठक का आयोजन किया गया और अधिकारियों को झज्जर जिले में सेमग्रस्त जमीन का सर्वे करने को लेकर रिपोर्ट तैयार करने का निर्देश दिया गया। उनकी ओर से बताया गया कि प्रदेश के झज्जर जिले में सेम ग्रस्त भूमि 1,86,925 एकड़ है। जिस पर उनकी ओर से बताया गया कि इस साल कम से कम 10000 एकड़ भूमि को सेम ग्रस्त से मुक्त करने का लक्ष्य को पूरा किया जाएगा।
किसान सेम ग्रस्त भूमि पर करें झींगा व मछली पालन पल पीएम
कृषि मंत्री के कहे अनुसार किसान सेम ग्रस्त भूमि में से निकलने वाले लवणीय पानी को मछली पालन को लेकर इस्तेमाल में लाया जा सकता है और इसके चलते किसानों को दोहरा फायदा होगा। जिन स्थानों पर सेम ग्रस्त भूमि है उनके नजदीकी में तालाब को खोदकर मत्स्य पालन को आरंभ किया जा सकता है।
झींगा मछली पालन को लेकर लवणीय पानी सबसे सही माना गया है। और इसके लिए सरकार की ओर से भी अनुदान आधारित योजना को तैयार कर लागू किया गया है। आगे कहा कि एक किसान के द्वारा एक बकरा गांव में प्रोजेक्ट कार्य आरंभ किया गया है। इस प्रोजेक्ट के तैयार किए जाने को लेकर किसान की मदद किया जाए और मैं स्वयं से अगले विजिट के दौरान इस प्रोजेक्ट का अवलोकन करूंगा।
Share this content: